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कैग ने राज्य में 461 करोड़ की वित्तीय अनियमितता पकड़ी

देहरादून,  भारत के नियंत्रक-महालेखापरीक्षक (कैग) की रिपोर्ट में प्रदेश के विभिन्न विभागों में 461.81 करोड़ रुपये की वित्तीय अनियमितता का खुलासा किया गया है। यह अनियमितता लापरवाही के चलते विभिन्न योजनाओं की लागत बढ़ने, निष्प्रभावी व्यय आदि के रूप में है। इसके अलावा विभिन्न योजनाओं की कमियों व राज्य की राजस्व स्थिति का भी रिपोर्ट में उल्लेख किया गया है।

बुधवार को इंदिरा नगर स्थित महालेखाकार (लेखापरीक्षा) कार्यालय में पत्रकारों से रूबरू महालेखाकार (लेखा परीक्षा) सौरभ नारायण ने कहा कि यह रिपोर्ट 31 मार्च 2016 को समाप्त हुए वित्तीय वर्ष की है। रिपोर्ट में जिन वित्तीय अनियमितताओं के उजागर किया गया है, उनमें से राज्य सरकार 18.20 करोड़ रुपये की वसूली भी कर रही है।

महालेखाकार नारायण ने बताया कि वर्ष 2014-15 तक राज्य में राजस्व की स्थिति सरप्लस थी, जबकि इसके बाद राज्य लगातार राजस्व घाटा झेल रहा है। वित्तीय वर्ष 2014-15 में प्रदेश को आय के मुकाबले 917 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था, जो वित्तीय वर्ष 2015-16 में बढ़कर 1852 करोड़ रुपये हो गया। पत्रकार वार्ता में महालेखाकार (लेखा एवं हकदारी) अशोक सिन्हा, उपमहालेखाकार अनुभव कुमार, वीबी रेलन, रामपाल सिंह, राजीव कुमार, अरुण खंडूड़ी, दिनेश रमोला आदि उपस्थित रहे।

तरह बढ़ रहा राजस्व घाटा

वर्ष—————–राजस्व

2011-12———-716 करोड़

2013-13——–1787 करोड़

2013-14———1105 करोड़

2014-15———–917 करोड़

2015-16———-1852 करोड़

 

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