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आईएसएल-5: दिल्ली ने पुणे को उसके घर में दी शिकस्त

दिल्ली डायनामोज ने हीरो इंडियन सुपर लीग (आईएसएल) के पांचवें सीजन में रविवार को एफसी पुणे सिटी को उसके घर श्री शिव छत्रपति शिवाजी स्टेडियम में खेले गए मैच में 3-1 से हरा दिया।

यह मैच महज औपचारिकता मात्र था क्योंकि प्लेऑफ में जाने वाली चारों टीमों का फैसला हो चुका है। ऐसे में इस मैच से शीर्ष-4 में रहने वाली टीमों पर कोई अंतर नहीं आना था।

दिल्ली को इस जीत से तीन अंक मिले और अब उसके 17 मैचों में चार जीत के साथ 18 अंक हो गए हैं और वह आठवें स्थान पर कायम है। पुणे की यह 17 मैचों में आठवीं हार है। वह 19 अंकों के साथ दिल्ली से एक स्थान ऊपर सातवें स्थान पर कायम है।

दिल्ली ने 17वें मिनट में ही गोल कर मेजबान टीम के माथे पर चिंता की लकीरें ला दीं। दिल्ली के लिए यह गोल लालइनजुआला चांग्ते ने रोमियो फर्नाडेज की मदद से किया।

गोल होने के अगले ही मिनट में दिल्ली के आद्रिया कारमोना को पीला कार्ड मिला।

पुणे ने इसके बाद 23वें मिनट में ही बराबरी हासिल कर ली। मेजबान टीम के लिए निखिल पुजारी ने गोल किया। पुजारी के झन्नाटेदार शॉट को दिल्ली के गोलकीपर फ्रांसिस्को डोरोंसो रोक नहीं पाए।

बराबरी का स्कोर ज्यादा देर बोर्ड पर नहीं रह सका क्योंकि पहले गोल में चांग्ते की मदद करने वाले रोमिया ने 30वें मिनट में एक बार फिर गोल कर दिल्ली को 2-1 की बढ़त दिला दी। इस गोल में वीनीत राय ने रोमियो की मदद की।

पुणे के कोच फिल ब्राउन ने कुरुनियन को 37वें मिनट में बाहर बुलाकर निम डोरजी को मैदान पर भेजा। पहले हाफ के एक्सट्रा टाइम में पुणे के इयानमू को भी पीला कार्ड मिल गया। यह इस हाफ का तीसरा पीला कार्ड था।

मू ने दूसरे हाफ में आते ही पुणे को मैच में लगभग वापस ला दिया। उन्होंने रोबिन सिंह को गेंद दी लेकिन रोबिन गेंद को सही से किक नहीं कर पाए और गेंद सीधे गोलकीपर के हाथों में चली गई।

पुणे के लिए यह मौका गंवाना नुकसानदायक रहा क्योंकि 52वें मिनट में डेनिएल लालहिमपुइया ने दिल्ली के लिए तीसरा गोल कर पर पुणे की वापसी बेहद मुश्किल कर दी।

यहां गियानी जुइवेरलू ने उलीसेस डाविला को गेंद दी। डाविला ने गोलपोस्ट पर निशाना लगाया जिसे पुणे के गोलकीपर कमलजीत ने रोक लिया, लेकिन वहीं खड़े डेनिएल ने रिबाउंड पर गोल कर दिल्ली को 3-1 से आगे कर दिया।

पुणे की टीम तमाम प्रयास करती रही लेकिन दिल्ली के गोलकीपर और डिफेंस ने उसके हर प्रयास को नकार दिया। कई बार किस्मत ने भी पुणे का साथ नहीं दिया।

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