उत्तर प्रदेश

न्यायालय परिसर में प्रवेश करने वाली महिलाओं की चेंकिग हेतु महिला पुलिस कर्मियों को तैनात किया जायः अवनीश कुमार अवस्थी

लखनऊः अपर मुख्य सचिव गृह ने आज योजना भवन में प्रदेश के जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों के साथ जिला न्यायालयों के परिसरों की सुरक्षा, पुलिस विभाग से सम्बन्धित निर्माण कार्यो तथा एफएसएल लैब के कार्यों की विस्तृत समीक्षा की। उन्होंने जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों से मा0 उच्च न्यायालय एवं अधीनस्थ न्यायालयों में सुरक्षा उपकरण, सुदृढ़ व्यवस्था, बाउण्ड्रीवाल, जनशक्ति ट्रैनिंग, न्यायालय परिसर में पृथक-पृथक गेटो की संख्या, वादकारी व अन्य के लिए पास हेतु चिन्हित स्थल, अनाधिकृत निर्माण एवं न्यायालय परिसर में वेन्डर्स आदि की वस्तुस्थिति की जानकारी ली। उन्होंने प्रदेश के जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों को आगामी 10 जनवरी तक मा0 उच्च न्यायालय एवं अधीनस्थ न्यायालयों में की जाने वाली सुरक्षा व्यवस्था सम्बन्धी कार्ययोजना प्रस्तुत करने के निर्देश दिये है।  अपर मुख्य सचिव गृह ने जिलों के न्यायालयों में सीसीटीवी कैमरे तथा चार दीवारी की स्थिति तथा न्यायालय परिसर में आगमन तथा प्रस्थान के गेटों के जानकारी ली।

श्री अवस्थी आज योजना भवन में वीडियों कान्फ्रेन्सिंग के माध्यम से जिलाधिकारियों एवं पुलिस अधीक्षकों को निर्देष दे रहे थे। उन्होंने जिलाधिकारियों और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों से कहा कि जिला न्यायालय के जजों, वकीलो तथा बार काउसिंल के साथ बैठक कर न्यायालय की सुरक्षा व्यवस्था के लिए किये जाने वाले प्रबन्धों सेे अवगत करा दिया जाय। साथ ही उन्होंने न्यायालय परिसर में प्रवेश करने वाली महिलाओं की चेंकिग करने हेतु महिला पुलिस कर्मियों को तैनात करने पर जोर दिया। उन्होंने पुलिस विभाग से सम्बन्धित 500 निर्माण कार्याे की समीक्षा की तथा प्रत्येक जनपद मेे पुलिस विभाग से सम्बन्धित अग्निशमन केन्द्र, आवासीय परिसर, माडल पुलिस थाना, पुलिस चैकी आदि निर्माण कार्यों की प्रगति की जानकारी जनपदों के अधिकारियों से ली। साथ ही एफएसएल लैब के निर्माण कार्यों की भी प्रगति की समीक्षा जनपदों के जिलाधिकरियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों के साथ की।

अपर मुख्य सचिव, गृह ने प्रदेश में माफियाओं पर और अधिक नकेल कसने के निर्देश जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों को दिये। उन्होंने कहा कि माफियाओं को चिन्हित करते हुए उनके खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जाय। इसके साथ गुंडा एक्ट के तहत माफिया प्रकृति वाले व्यक्तियों को जिला बदर करने की कार्यवाहियां भी की जाय। उन्होंने जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों को इसके लिए संयुक्त रूप से बैठक कर प्रभावी कार्यवाही करने के निर्देश दिये है।

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