उत्तर प्रदेश

‘मेरा कोविड केन्द्र’ ऐप डाउनलोड करके मालूम कर सकते हैं कि घर के आस-पास कौन से ऐसे केन्द्र हैं जहां आपकी जांच मुफ्त हो सकती है

उत्तर प्रदेश के अपर मुख्य सचिव ‘सूचना’ श्री नवनीत सहगल ने लोक भवन में प्रेस प्रतिनिधियों को सम्बोधित करते हुए बताया कि प्रदेश में कोरोना के संक्रमण से बचाव के लिए आप सभी लोगों को कोविड वैक्सीनेशन का टीकाकरण कराना अत्यन्त आवश्यक है और वैक्सीनेशन को प्रोत्साहित करने के लिए एक उपहार की योजना भी रखी गयी है। टीकाकरण का कोई भी विपरीत प्रभाव नहीं पड़ता है। मा0 मुख्यमंत्री जी ने इस सम्बंध में सभी जिला प्रशासन को टीकाकरण कार्य की गति को बढ़ाने के भी निर्देश दिये हैं। सभी जनपदों में प्रत्येक दिन के लिए निर्धारित टीकाकरण के लक्ष्य को हर हाल में पूरा किया जाय। सभी से अपील है कि जो लोग 45 वर्ष के ऊपर हैं वे अपना टीकाकरण अवश्य कराएं। उन्होंने बताया कि जो लोग अन्य प्रान्तों जैसे-महाराष्ट्र, केरल आदि से आ रहे हैं वे कोविड-19 की जांच कराकर ही अपने घर को प्रस्थान करें। यह सुविधा प्रशासन द्वारा सभी बस स्टेशन, रेलवे स्टेशन व एयरपोर्ट पर निःशुल्क दी जा रही है। इसके लिए पूरे प्रदेश के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राम निगरानी समिति, मोहल्ला निगरानी समिति बनाने के निर्देश दिये गये हैं ताकि कोई भी ऐसे क्षेत्र में बाहर से आते हैं तो उनकी रैण्डम जांच की जा सके। उन्होने बताया कि प्रदेश सरकार ने आरटीपीसीआर जांच में बढ़ोत्तरी कर दी है। कल 1,77,000 सैम्पल आये हैं, यह एक ऐसी प्रक्रिया है जिससे जल्द से जल्द संक्रमण को पहचाना जा सकेगा। प्रदेश में 6287 कन्टेनमेंट जोन हैं। प्रदेश के सभी लोगों से अपील है कि कोविड-19 के प्रोटोकाल का अवश्य पालन करें, जैसे साबुन-पानी से नियमित हाथ धोते रहे, मास्क लगाये उसके साथ-साथ जो टीकाकरण की प्रक्रिया चल रही है उसमें भी बढ़-चढ़कर भाग लें।
श्री सहगल ने बताया कि युवाओं के लिए प्रदेश में मिशन रोजगार चलाया जा रहा है। प्रदेश सरकार युवाओं को सरकारी नौकरी, रोजगार, स्वरोजगार, कौशल प्रशिक्षण के माध्यम से रोजगार उपलब्ध कराने की मुहिम चला रही है। उन्होंने बताया कि सभी आयोगों, विभागों, निगमों, परिषदों की भर्तियों को पारदर्शी ढंग से सम्पन्न कराने का कार्य किया जा रहा है। पिछले 04 साल में 04 लाख से अधिक सरकारी नौकरियां उपलब्ध कराई गयी हैं। इसी क्रम में निजी क्षेत्रों के छोटे उद्योगों में एमएसएमई के माध्यम से अधिक से अधिक रोजगार सृजित किये गये हैं और बैंकों से समन्वय करके नई इकाइयों को ऋण उपलब्ध कराया जा रहा है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में 10 लाख नई एमएसएमई इकाइयों को बैंकों द्वारा 37755 करोड़ रूपये का ऋण वितरण किया गया है। इन्हीं इकाइयों से 30 लाख से अधिक निजी क्षेत्र में रोजगार के अवसर सृजित हुए हैं। आत्मनिर्भर पैकेज के अन्तर्गत भारत सरकार द्वारा उपलब्ध कराई जा रही इमरजेन्सी क्रेडिट लाइन की जो परिभाषा है उसको बढ़ाकर उसे भी 30 जून तक उसका विस्तार कर दिया गया है। प्रदेश में अब तक 4.41 लाख इकाइयों को 12222 करोड़ रूपये का ऋण वितरित किये गये हैं। दोनों को मिलाकर 14.39 लाख इकाइयों को वर्तमान वित्तीय वर्ष में 50 हजार करोड़ से अधिक का ऋण वितरण किये गये हैं। काफी बड़ी संख्या में इनके माध्यम से रोजगार पैदा हुए हैं।
श्री सहगल ने बताया कि प्रदेश सरकार किसानों के हितों के लिए कृतसंकल्प है और किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य पर उनकी फसल को खरीदे जाने की प्रक्रिया तेजी से चल रही है। टेक्नालाॅजी से उनको जोड़ना, क्रेडिट कार्ड से किसानों को जोड़ना, प्रधानमंत्री किसान बीमा योजना से जोड़ना, अब सरकार ने बटाईदारों के लिए भी बीमा योजना की घोषणा की है। प्रदेश सरकार द्वारा इस वर्ष धान रिकार्ड खरीद की गयी है। उन्होंने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा न्यूनतम समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीद किये जाने हेतु 6000 क्रय केन्द्र स्थापित किये गये हैं। उन्होंने बताया कि एक नई व्यवस्था की गयी है, जिसमें एफ0पी0ओ0 यानी किसान संगठनों को भी क्रय केन्द्र खोलने की अनुमति दी गयी है। जिलाधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि किसानो के जो संगठन हैं उनको भी क्रय केन्द्रों से जोड़कर गेहूं क्रय का कार्यक्रम शुरू करें। यह व्यवस्था प्रदेश में पहली बार हो रही है। उत्तर प्रदेश देश का पहला राज्य है, जो इस प्रकार का प्रयोग करने जा रहा है। प्रत्येक क्रय केन्द्रों पर पल्स आॅक्सीमीटर और थर्मामीटर की व्यवस्था की गयी है। 01 अप्रैल से शुरू हुए इस क्रय के अभियान में अब तक लगभग 1000 मी0 टन से अधिक गेहूं खरीदा गया है और गेहूं खरीद की प्रक्रिया तेजी से चलाई जा रही है। मा0 मुख्यमंत्री जी ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देशित किया है कि वह गेहूं क्रय केन्द्रों का लगातार स्वयं या अपने अधीनस्थ अधिकारियों के माध्यम से निरीक्षण, अनुश्रवण कराते रहें, किसानों को किसी प्रकार की असुविधा न हो, इसके लिए हर क्रय केन्द्रों पर पेयजल की व्यवस्था, छाया इत्यादि की व्यवस्था सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिये हैं।
अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य श्री अमित मोहन प्रसाद ने बताया कि प्रदेश में गत एक दिन में कुल 1,77,695 सैम्पल की जांच की गयी। प्रदेश में अब तक कुल 3,54,13,966 सैम्पल की जांच की गयी है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में पिछले 24 घंटे में कोरोना सेे संक्रमित 4164 नये मामले आये हैं। प्रदेश में 19,738 कोरोना के एक्टिव मामले में से 10,666 लोग होम आइसोलेशन में हैं। निजी चिकित्सालयों में 434 मरीज अपना इलाज करा रहे है, इसके अतिरिक्त शेष मरीज सरकारी चिकित्सालयों में निशुल्क इलाज करा रहे हैं। उन्होंने बताया कि प्रदेश में अब तक 6,01,440 लोग कोविड-19 से ठीक होकर डिस्चार्ज हो चुके हैं। प्रदेश में सर्विलांस टीम के माध्यम से 1,90,117 क्षेत्रों में 5,17,507 टीम दिवस के माध्यम से 3,17,06,947 घरों के 15,38,31,874 जनसंख्या का सर्वेक्षण किया गया है। उन्होंने बताया कि अपने हाथ को साबुन-पानी से निरन्तर धोते रहें। जब आप अपने हाथ को धोते हैं तो कम से कम 30 सेकण्ड तक धोते रहें, जिससे विषाणु नष्ट हो जायें, और जहां भी जाइये लोगों से दो गज की दूरी अवश्य बनाएं, और भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचें। कोशिश करें कि घर के बड़े-बुजुर्गों का टीकाकरण अवश्य कराएं। आप सभी से अपील है कि जो लोग 45 वर्ष से अधिक है वो कोविड सेंटर पर जाकर टीकाकरण अवश्य करायें, जो लोग वैक्सीनेशन कराना चाहते है वह ‘कोविन’ पोर्टल पर जाकर अपना प्री आॅनलाइन रजिस्ट्रेशन कर सकते है। जो लोग आॅनलाइन रजिस्ट्रेशन नहीं कर पाते है, वो स्वयं अपना आधार कार्ड या कोई पहचान पत्र लेकर वैक्सीनेशन सेन्टर पर जायें। वहां पर मौजूद स्वास्थ्य कर्मी द्वारा पंजीकरण करके टीकाकरण कर दिया जायेगा। निजी चिकित्सालयों में वैक्सीनेशन के एक डोज का 250 रूपये भुगतान करना होगा। उन्होंने बताया कि जिन लोगों ने पहली डोज लेने के बाद अभी तक नहीं ली है उनसे अपील है कि वे तत्काल दूसरी डोज अवश्य लें क्योंकि प्रदेश में एक अनूठी योजना चलाई जा रही है जिसमें 07 अप्रैल को विश्व स्वास्थ्य दिवस के अवसर पर लाॅटरी भी निकालने की योजना है। जिन जिलों में ऐसे 25000 लोग होंगे जिनकी दोनों डोज हो गयी हैं वहां हम लाॅटरी निकालकर 04 उपहार देंगे। जिन जिलों में 25 से 50 हजार हैं उनमें हम 06 उपहार देंगे और उससे अधिक वालों में 08 उपहार देंगे।
श्री प्रसाद ने बताया कि ‘मेरा कोविड केन्द्र’ ऐप डाउनलोड करके मालूम कर सकते हैं कि घर के आस-पास कौन से ऐसे केन्द्र हैं जहां आपकी जांच मुफ्त हो सकती है। या महानिदेशक स्वास्थ्य के वेबसाइट पर जाकर इन सभी केन्द्रों की सूची देखी जा सकती है।  अपने जिले के मुख्य चिकित्साधिकारी तथा जो जिले में इन्टीग्रेटेड कोविड कमाण्ड सेंटर है, उस पर फोन करके सूचना दे सकते हैं, जिससे आपकी जांच निःशुल्क करवायी जा सके। निजी प्रयोगशाला में जांच के लिए 700 रूपये का भुगतान करना होगा। घर से सैम्पल कलेक्ट किया जायेगा तो 900 रूपये का भुगतान करना होगा। अगर आपसे कोई इस शुल्क से अधिक राशि की मांग करता है तो जिले के मुख्य चिकित्साधिकारी या हेल्पलाइन नं0-18001805145 पर शिकायत दर्ज कर सकते हैं।
श्री प्रसाद ने बताया कि मा0 मुख्यमंत्री जी के निर्देश पर सभी मुख्य चिकित्साधिकारी को और चिकित्सा शिक्षा विभाग को निर्देशित किया गया है कि जनपदों में जो भी कोविड के अस्पताल हैं, चाहे वो सरकारी या निजी क्षेत्र के हों, हर एक अस्पताल के लिए नोडल अधिकारी की तैनाती की जायेगी। नोडल अधिकारी इस बात को सुनिश्चित करेंगे कि इलाज गुणवत्ता से किया जा रहा है और अस्पताल में सभी व्यवस्थाएं पर्याप्त संख्या और मात्रा में उपलब्ध है। और अगर कहीं पर अधिक धनराशि लेने की शिकायत या कोई बात होगी उसको भी नोडल अधिकारी द्वारा देखा जायेगा। इस समय विशेष सावधानी बरतने की आवश्यकता है। संक्रमण अभी समाप्त नहीं हुआ है इसलिए टीकाकरण के बाद भी कोविड प्रोटोकाॅल का पालन अवश्य करें।

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