उत्तर प्रदेश

स्वास्थ्य सेवाओं में किसी तरह की लापरवाही नहीं होगी क्षम्य: ब्रजेश पाठक

लखनऊ: प्रदेश के उप मुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक ने कहा है कि कोविड के मामलों में बढ़ोत्तरी को देखते हुए किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह तैयार रहे। उन्होंने कहा कि यद्यपि प्रदेश में कोविड-19 के मामले बढ़े हैं किन्तु इससे घबराने की जरूरत नहीं है, क्योंकि जिन रोगियों में कोरोना की पुष्टि हुई है उनमें लक्षण सामान्य हैं और उनकी रिकवरी दर भी सही है फिर भी हमें हर परिस्थिति के लिए तैयार रहना होगा जिससे जरूरत पड़ने पर लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवा दी जा सके।
श्री पाठक प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के उद्देश्य से आज लखनऊ के लाल बहादुर शास्त्री भवन (एनेक्सी) के चतुर्थ तल स्थित सभागार से प्रदेश के सभी मुख्य चिकित्सा अधिकारियों/चिकित्सा अधिकारियों को वर्चुअली निर्देशित कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने ‘‘उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य केन्द्र’’ ऐप को भी लांच किया। इस ऐप से प्रदेश के किसी भी स्वास्थ्य केन्द्र की स्थिति और सुविधाओं को जाना जा सकता है।
उन्होंने कहा कि कोविड जांच हेतु सभी लैब को सक्रिय कर लिया जाये, जहां कोविड के अधिक मामले आ रहे हैं वहां सर्विलांस को बढ़ाते हुए अधिक से अधिक सैम्पल एकत्रित किये जाये। जनपदों के निजी तथा सरकारी लैब में प्राप्त हो रहे कोविड पॉजीटिव सैम्पल को जिनोम सिक्वेसिंग के लिए केजीएमयू के माइक्रोबायोलाजी लैब में भिजवाना सुनिश्चित किया जाय। जिन लोगों में कोविड के लक्षण नहीं दिख रहे उन्हें  इस बात के लिए सचेत किया जाय कि यदि उनमें कोई लक्षण उत्पन्न हो तो वे तत्काल इन्ट्रीगेटेड कोविड कमाण्ड सेन्टर को सूचित करें। उन्होंने कहा कि सभी कोविड अस्पतालों को पूर्ण क्षमता से कार्य करने हेतु क्रियाशील कर लिया जाय, इसके लिए अस्पतालों में जरूरत के सभी उपकरण एवं दवाइयों की उपलब्धता सुनिश्चित कर ली जाय।
श्री पाठक ने कहा कि आप सभी अवगत ही है कि विगत 01 अप्रैल 2023 से मा0 मुख्यमंत्री जी के निर्देश पर प्रदेश में संचारी रोग नियंत्रण अभियान चलाया जा रहा है जो 30 अप्रैल, 2023 तक चलेगा, इसके अतिरिक्त दस्तक अभियान भी 17 अप्रैल 2023 से 30 अप्रैल 2023 तक चलेगा। इस अभियान की सफलता के लिए आप लोग एक माइक्रोप्लान बनाकर एवं अन्य विभागों से समन्वय स्थापित कर साफ-सफाई और जलभराव पर विशेष ध्यान दें। उन्होंने कहा कि फ्रन्टलाइन वर्कर्स के माध्यम से रोगियों की पहचान व उपचार की व्यवस्था पर जोर दिया जाये तथा संचारी रोगों के बारे में जनता को जागरूक करते हुए यह बताया जाय कि जनता क्या करे और क्या न करें।
उपमुख्यमंत्री ने हेल्थ एवं वेलनेस सेन्टर के बारे में निर्देश दिया कि सभी हेल्थ वेलनेस सेन्टर को सक्रिय रखा जाय तथा उनमें सीएचओ/एएनएम की उपलब्धता एवं आवश्यक दवाइयों की उपलब्धता सुनिश्चित कर ली जाये, जिससे मरीजों को निःशुल्क उपचार व दवाएं मिल सके। प्रत्येक माह के 14 तारीख को हेल्थ सेन्टर पर स्वास्थ्य मेले का आयोजन उस माह की थीम के अनुसार किया जाय तथा सभी हेल्थ एवं वेलनेस सेन्टर पर योगा सत्र का आयोजन किया जाय।
श्री पाठक ने कहा कि सरकार प्रदेशवासियों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराने हेतु प्रतिबद्ध है अतः सभी सीएमओ की यह जिम्मेदारी होगी कि प्रत्येक हेल्थ एवं बेलनेस सेन्टर क्रियाशील, रहे जिससे जनता को निःशुल्क चिकित्सा सेवाएं व उपचार मिलता रहे और उन्हें पीएचसी/सीएचसी पर कम जाना पड़े। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य सेवाओं में किसी तरह की लापरवाही क्षम्य नहीं होगी तथा किसी भी लापरवाही के लिए सम्बंधित अधिकारी/कर्मचारी की जवाबदेही तय कर कठोर कार्रवाई की जायेगी।
इस दौरान राज्यमंत्री चिकित्सा एवं स्वास्थ्य श्री मयंकेश्वर शरण सिंह, प्रमुख सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य पार्थ सारथी सेन शर्मा, सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य श्री रविंद्र, एनएचएम निदेशक श्रीमती अपर्णा यू उपस्थित रहे एवं प्रदेश के सभी सीएमओ वर्चुअली जुड़े थे।

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